Barbigha:-जैसे आग सब कुछ को जला कर राख कर देती है वैसे ही भागवत कथा के श्रवण मात्र से समस्त पाप नाश होकर मोक्ष की प्राप्ति होती है. जन्म-जन्मांतर के पुण्य का उदय होने पर भागवत कथा सुनने को मिलती है जिससे अर्थ, धर्म, काम, मोक्ष की प्राप्ति होती है.उक्त बातें बरबीघा प्रखंड के नरसिंहपुर गांव में चल रहे सात दिवसीय भागवत कथा के दौरान वृंदावन से चलकर पधारे कथावाचक वेदांश जी महाराज ने लोगों को बताई.
गुरुवार को संध्या में आयोजित कथा के दौरान उपस्थित हजार लोगों की भीड़ को उन्होंने बताया कि भागवत कथा भगवान का शब्द स्वरूप है. इसमें मनुष्य के सभी समस्याओं का समाधान भी निहित है. भागवत कथा सुनने से लोगों के अंदर सत्कर्म करने की भावना जागृत होती है. उन्होंने कहा कि वेदों का सार युगो युगो से मानव जाति तक पहुंचता रहा है. भागवत कथा भी उसी सनातन ज्ञान के सरिता है, जो वेदों से प्रवाहित होती चली आई. इसीलिए तो भागवत महापुराण को वेदों का सार भी कहा गया है.
उन्होंने बताया की भागवत कथा का आयोजन करवाने वालों को भी जन्म-जननांतर का पुण्य फल की प्राप्ति होती है.जहां पुण्य का उदय होता है वहां इस तरह का आयोजन होता है. कथा के दौरान उन्होंने कहा कि इस कलयुग में नश्वर शरीर के द्वारा भगवत प्राप्त करना ही मानव जीवन की सार्थकता है.
लोगों को सांसारिक मोह माया से अलग हटकर प्रत्येक दिन प्रभु को याद करना चाहिए. उन्होंने भागवत कथा के दौरान कई सारी प्रेरक कहानियां और मन को विभोर करने वाली भजनों के जरिए लोगों को सत्कर्म करने के लिए प्रेरित किया.इस आयोजन में सभी ग्राम वासियों का काफी सहयोग मिल रहा है.