Sheikhpura: बेटे-बेटियों में कोई फर्क नहीं. आज बेटियां समाज और देश का नाम रोशन कर रही है. लेकिन शेखपुरा के एक व्यक्ति को बेटी नहीं बल्कि बेटे की चाहत थी. इस कारण वह इतनी हैवानियत पर उतर आया कि जानकर आप भी हैरान रह जाएंगे.
बेटियां घर की लक्ष्मी होती है. बेटियां है तो परिवार है. बेटी को मारोगे तो दामाद कैसे उतारोगे. ऐसे तमाम तरह के संदेश दिए जाते हैं. लेकिन शेखपुरा के एक व्यक्ति ने इन बातों को पूरी तरह नकार दिया. उसने जता दिया कि पितृसत्तात्मक समाज में आज भी बेटे का महत्व बना हुआ है. तभी तो वह इतना हैवान निकला कि बेटे की चाहत में पत्नी का पांच बार गर्भपात करा दिया. इसके बाद भी बेटा नहीं हुआ तो उसने पत्नी को मारपीट कर घर से निकाल दिया. शेखोपुरसराय की बेलाव पंचायत अंतर्गत वीरपुर गांव की विभा कुमारी ने इस आशय की प्राथमिकी शेखपुरा के महिला थाने में दर्ज कराई है.
अल्ट्रासाउंड जांच के बाद कंस बन जाता था पति
विभा कुमारी दो बेटी की मां हैं. उनकी शादी 2014 में शेखपुरा के अरधौती पोखर मंदिर के पास नालंदा जिले के अस्थावां थाना क्षेत्र के उगवां के लखनुबीघा निवासी कौशल कुमार चंद्रवंशी के साथ हुई थी. शादी के बाद दो बेटियां हुईं. बेटा नहीं होने पर पति का मन-मिजाज बदल गया. इसके बाद जब भी वह गर्भवती होती, पति बरबीघा ले जाकर उसकी जांच कराता था. अल्ट्रासाउंड में बेटी होने की पुष्टि होते ही वह मानो कंस बन जाता था. जबरन गर्भपात करा देता था. एक-दो बार नहीं बल्कि पूरे पांच बार उसने जबरन उसका एबार्शन करवाया. दो बार दवा खिलाकर और तीन बार क्लीनिक ले जाकर. इसके बाद भी जब बेटा नहीं हुआ तो उसने मारपीट कर घर से निकाल दिया. वह बेटियों को भी अपने साथ नहीं रखना चाहता. महिला ने पुलिस से न्याय की गुहार लगाई है.
बता दें कि प्रसव पूर्ण भ्रूण जांच कानूनन अपराध है. इसके बाद भी चोरी छिपे यह काला काम कई जांच घरों में होता है. अब पति पर तो कार्रवाई होगी ही, अल्ट्रासाउंड करने वाले भी कार्रवाई के घेरे में आएंगे. पुलिस मामले की जांच में जुट गई है.