फैसला ऑन द स्पॉट: डीएम के जनता दरबार में जनता की हुई जीत, पंचायत मुख्यालय में पंचायत भवन बनाने का मामला लेकर पहुंचे थे लोग

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Sheikhpura: बरबीघा प्रखंड क्षेत्र के कुटौत पंचायत में पंचायत भवन बनाने को लेकर चल रहे विवाद पर शुक्रवार को डीएम के जनता दरबार में विराम लग गया. दरअसल कुटौत गांव में जमीन उपलब्ध नहीं होने के कारण पंचायत भवन को धरसेनी गांव में बनाने का निर्णय लिया गया था. अंचलाधिकारी भुवनेश्वर यादव के इस फैसले से असंतुष्ट कुटौत गांव के ग्रामीणों ने डीएम से मिलकर पंचायत मुख्यालय में ही पंचायत भवन बनवाने का आग्रह किया था. इसके बाद डीएम ने अंचलाधिकारी को जांच कर रिपोर्ट सौंपने की बात कही थी. जांच के दौरान ग्रामीणों द्वारा दो सरकारी प्लॉट की जानकारी अंचलाधिकारी को दी गई थी. लेकिन उक्त दोनों प्लॉट में से एक मरघट था जबकि दूसरा पनघट की जमीन थी.

जांच के क्रम में दोनों पर ग्रामीणों के द्वारा अतिक्रमण करने की बात भी सामने आई थी. वही अंचलाधिकारी द्वारा दूसरी बार भी जमीन उपलब्ध ना होने की रिपोर्ट डीएम को सौंपी गई. इसके बाद ग्रामीणों ने अपना निजी जमीन देकर पंचायत सरकार भवन बनवाने का अंचलाधिकारी से आग्रह किया लेकिन वे राजी नहीं हुए. नाराज ग्रामीणों ने शुक्रवार को प्रखंड प्रमुख विनोद राम, पूर्व मुखिया प्रत्याशी अजय नीति, मोहन कुमार मृत्युंजय कुमार, हीरा कुमार इत्यादि प्रतिनिधियों की अगुवाई में जिलाधिकारी के जनता दरबार में जा धमके.



जिलाधिकारी के समक्ष सारी बात रख पंचायत सरकारी भवन पंचायत मुख्यालय में बनवाने का मांग किया. इसके बाद जिलाधिकारी ने डीसीएलआर और अंचलाधिकारी को तत्काल ग्रामीणों द्वारा दिए जा रहे निजी जमीन को राज्यपाल के नाम से रजिस्ट्री करवाने के बाद पंचायत सरकारी भवन कुटौत गांव में ही बनवाने का आदेश दिया. डीएम के इस फैसले से ग्रामीणों के चेहरे पर काफी खुशी देखी गई. ग्रामीणों ने बताया कि पंचायत सरकार भवन बनाने के लिए जितनी जमीन की आवश्यकता है उससे ज्यादा ग्रामीण जमीन दान दे रहे हैं.

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